rehmat.re रहमत (जुलाहा) की शायरी

अपना हक़ भी जता लिया, मेरी शर्ट का बटन भी लगा लिया.

अपना हक़ भी जता लिया, मेरी शर्ट का बटन भी लगा लिया.
मुझ पर बिजलियाँ भी गिरा लीं, और कमरा भी सजा लिया.
ख़ुशी ख़ुशी पौंछे भी लगा लिये, ‘उम्दा खाना भी पका लिया.
लो हो गये तुम्हारे आज के भी सब काम कि मुझे हैरान कर देती हो.
साथ खाना भी खा लिया, और अब मेरी जान तुमने मुँह भी तो बना लिया.
क्या ख़ूब शौक़ हो चला है तुम्हें मुझसे रोज़ ही रूठ जाने का.
मनाने के लिये मैंने ख़ता भी मान ली, अदाएँ देखने का ज़िम्मा भी उठा लिया.
– रहमत (जुलाहा)

#shayari #love #marriage #haq #shirt #button #bijliyan #kamra #khushi #paunchhe #umda #khana #hairan #jaan #muhn #khoob #shauk #roz #minnaten #bewajah #khata #manane #jimma #jata #saja #bana #saath #uthha #right #wonder

About the author

Add comment

Avatar photo By rehmat
rehmat.re रहमत (जुलाहा) की शायरी
Rehmat Ullah - रहमत (जुलाहा)